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25 PRIYA KAHANIYA (Hindi)

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  • ISBN13:9788194308171
  • ISBN10:8194308178
  • Publisher:Vayu Education Of India
  • Language:Hindi
  • Author:Munshi Premchand
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Highlights

  • ISBN13:9788194308171
  • ISBN10:8194308178
  • Publisher:Vayu Education Of India
  • Language:Hindi
  • Author:Munshi Premchand
  • Binding:Paperback
  • Pages:284
  • Edition:2021
  • Edition Details:05/02/2021
  • SUPC: SDL773251364

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Country of Origin or Manufacture or Assembly India
Common or Generic Name of the commodity General Fiction
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Description

मुंशी प्रेम चंद का जनम बनारस के निकटल महीगांव में सन 31 जुलाई 1880 में हुआ था !उन्होंने बी.ए की पढ़ाई पूरी करने के अपरांत इक्कीस वर्ष की उम्र में लिखना शुरू कर दिया था !उन्होंने लिखने की शुरुआत उर्दू भाषा से की !उनकी उर्दू में लिखी कहानियों का प्रथम संकलन 'सोजेवतन' के नाम से प्रकाशित हुआ !प्रेमचंदजी ने सन 1923 में सरस्वती प्रेस की स्थापना की तथा सन 1930 से 'हंस' नामक एक ऎतिहासिक पत्रिका का सम्पादन भी किया !उन्होंने अपने जीवन काल में कई कहानियाँ उपन्यास और वैचारिक निबंध लिखे !उनकी रचनाओं में उनकी यही विशेषताये विध्समां हैं ! 8 अक्टूबर 1936 में मुंशीप्रेमचंद का बीमारी कारण निधन हो गया !. Hindi Munshi Premchand 25 Priya kahaniya 140 Vayu education of India 9788194308188 408 522 2.7 21.5 14 2020 मुंशी प्रेम चंद का जनम बनारस के निकटल महीगांव में सन 31 जुलाई 1880 में हुआ था !उन्होंने बी.ए की पढ़ाई पूरी करने के अपरांत इक्कीस वर्ष की उम्र में लिखना शुरू कर दिया था !उन्होंने लिखने की शुरुआत उर्दू भाषा से की !उनकी उर्दू में लिखी कहानियों का प्रथम संकलन 'सोजेवतन' के नाम से प्रकाशित हुआ !प्रेमचंदजी ने सन 1923 में सरस्वती प्रेस की स्थापना की तथा सन 1930 से 'हंस' नामक एक ऎतिहासिक पत्रिका का सम्पादन भी किया !उन्होंने अपने जीवन काल में कई कहानियाँ उपन्यास और वैचारिक निबंध लिखे !उनकी रचनाओं में उनकी यही विशेषताये विध्समां हैं ! 8 अक्टूबर 1936 में मुंशीप्रेमचंद का बीमारी कारण निधन हो गया !.

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